
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने खटीमा में सामूहिक विवाह समारोह में नव दम्पतियों को आशीर्वाद दिया
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने खटीमा के ग्राम नौगवां ठग्गू और आरपी पब्लिक स्कूल में आयोजित सामूहिक विवाह समारोह में शामिल होकर नव दम्पतियों को आशीर्वाद और शुभकामनाएं दी। इस अवसर पर उन्होंने बेटियों के महत्व और महिला सशक्तिकरण पर जोर देते हुए राज्य सरकार की योजनाओं का उल्लेख किया। मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि बेटियां एक नहीं बल्कि दो घरों को रोशन करती हैं और जब बेटियां सशक्त होती हैं तो राष्ट्र सशक्त होता है उन्होंने कहा कि हमारी सरकार बालिका एवं महिला सशक्तिकरण के लिए कार्य कर रही है राज्य में सभी नौकरियों में महिलाओं को 30% आरक्षण दिया है
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और उनकी पत्नी श्रीमती गीता धामी ने नौगवां ठग्गू और आरपी पब्लिक स्कूल के सामूहिक विवाह समारोह में कुल 50 जोड़ों को आशीर्वाद दिया। नौगवां ठग्गू में 25 और आरपी पब्लिक स्कूल में 25 जोड़ों का विवाह हुआ, जिसे मुख्यमंत्री ने व्यक्तिगत रूप से आशीर्वाद दिया। इस समारोह में मुख्यमंत्री ने नव दम्पतियों को सुखमय वैवाहिक जीवन की शुभकामनाएं दी और उनके नए जीवन की शुरुआत के लिए ढेर सारी दुआएं दीं।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा, “कन्यादान हमारे समाज और संस्कृति में महादान माना गया है। मुझे अभिभावक के रूप में इस विवाह में शामिल होने का अवसर मिला, जो मेरे लिए सौभाग्य की बात है।” उन्होंने यह भी कहा कि सामूहिक विवाह का आयोजन समाज में एकता और प्रेम की भावना को बढ़ावा देता है और यह खटीमा क्षेत्र के सभी समुदायों की मिलजुल कर रहने की संस्कृति को उजागर करता है।
मुख्यमंत्री ने महिला सशक्तिकरण के महत्व पर भी चर्चा की और राज्य सरकार द्वारा महिलाओं को दी जा रही सुविधाओं का उल्लेख किया। उन्होंने कहा, “बेटियां सशक्त होंगी तो राष्ट्र सशक्त होगा। राज्य सरकार ने महिलाओं के लिए कई योजनाओं की शुरुआत की है, जिसमें सभी नौकरियों में महिलाओं को 30% आरक्षण दिया गया है। यह कदम महिलाओं की भागीदारी को बढ़ावा देने और उन्हें सशक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण है।”
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि राज्य सरकार ने महिलाओं को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक करने के लिए कई कदम उठाए हैं और उनकी सुरक्षा और कल्याण के लिए आवश्यक सभी प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने महिलाओं के लिए शुरू की गई योजनाओं की सफलता पर प्रकाश डाला और यह विश्वास जताया कि इस तरह के कदम समाज में सकारात्मक बदलाव लाएंगे।
मुख्यमंत्री धामी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार व्यक्त किया और कहा कि उनके आशीर्वाद से उत्तराखंड को 38वें राष्ट्रीय खेलों की मेज़बानी का अवसर मिला। उन्होंने कहा कि यह राज्य के लिए गर्व का पल है, और इस सफलता को लेकर राज्य के नागरिकों को भी गर्व महसूस हो रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा, “हमने राष्ट्रीय खेलों में मेडल तालिका में 25वें स्थान से 7वें स्थान तक की छलांग लगाई है। इसमें खासकर हमारी बेटियों ने अधिक मैडल हासिल करके हमें गर्व महसूस कराया।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय खेलों में प्रदेश की महिला खिलाड़ियों के उत्कृष्ट प्रदर्शन ने न केवल राज्य का नाम रोशन किया, बल्कि देश भर में उत्तराखंड के खेल कौशल को भी उजागर किया। उन्होंने इसके लिए खेलों में भाग लेने वाले सभी खिलाड़ियों, कोचों और अधिकारियों को बधाई दी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस आयोजन की सफलतापूर्वक मेज़बानी के लिए धन्यवाद दिया।
मुख्यमंत्री ने खटीमा को एक “लघु भारत” की संज्ञा दी और कहा कि यहां विभिन्न समुदायों के लोग मिलजुल कर रहते हैं। उन्होंने इसे एकता और भाईचारे का प्रतीक बताते हुए कहा, “खटीमा एक बगीचा है जिसमें सभी समुदाय के लोग प्रेम भाव से एक साथ रहते हैं। यह सामूहिक विवाह भी उसी भावना का एक उदाहरण है।”
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि सामूहिक विवाह समारोहों के आयोजन से न केवल सामाजिक एकता को बढ़ावा मिलता है, बल्कि यह हमारे पारंपरिक मूल्यों और संस्कृतियों को भी सशक्त करता है। उन्होंने सामूहिक विवाह समारोहों की सराहना करते हुए आयोजकों का आभार व्यक्त किया और इस पहल को आगे बढ़ाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
इस मौके पर जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया, एसएसपी मणिकांत मिश्रा, अपर जिलाधिकारी पंकज उपाध्याय, एएसपी डॉ. उत्तम सिंह नेगी, नगर पालिका अध्यक्ष रमेश चंद्र जोशी, और अन्य वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी भी मौजूद थे। इन अधिकारियों ने भी सामूहिक विवाह समारोह की सफलता में योगदान दिया और आयोजन के समग्र समन्वय में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इसके अलावा, समारोह में बड़ी संख्या में श्रद्धालु और स्थानीय लोग भी उपस्थित थे, जिन्होंने नव दम्पतियों के इस नए जीवन की शुरुआत का हिस्सा बनने के लिए उत्साहपूर्वक भाग लिया।