
आम आदमी पार्टी के पंजाब अध्यक्ष, अमन अरोड़ा, ने राज्य में किसानों पर की जा रही कार्रवाई और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के होशियारपुर विपश्यना सेंटर के दौरे के दौरान वीआईपी ट्रीटमेंट पर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि पंजाब के मुख्यमंत्री के काफिले में होशियारपुर जाने पर कोई गलत बात नहीं है। उनका यह बयान राज्य में राजनीतिक हलकों में चर्चा का विषय बना हुआ है, खासकर किसान आंदोलन और नशे के खिलाफ सरकार के अभियान को लेकर।
अरविंद केजरीवाल के काफिले पर प्रतिक्रिया
अमन अरोड़ा ने अरविंद केजरीवाल के होशियारपुर विपश्यना सेंटर जाने के दौरान वीआईपी ट्रीटमेंट पर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, “अरविंद केजरीवाल एक राष्ट्रीय पार्टी के संयोजक हैं और उन्हें सुरक्षा देने में क्या गलत है? यदि वह अपने काफिले के साथ होशियारपुर गए, तो इसमें कोई गलती नहीं है।” अमन अरोड़ा ने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री के लिए सुरक्षा देना एक सामान्य प्रक्रिया है, और इसमें कोई विशेष बात नहीं है।
उन्होंने विपक्षी पार्टी भाजपा के नेता मनजिंदर सिरसा पर भी निशाना साधते हुए कहा, “मनजिंदर सिरसा को अपनी सरकार के काम पर ध्यान देना चाहिए। केजरीवाल अपनी निजी गाड़ी में होशियारपुर गए थे, तो इसमें कोई गलत नहीं था।” उनके इस बयान से यह स्पष्ट हुआ कि वे अरविंद केजरीवाल के लिए सुरक्षा और यात्रा के दौरान VIP ट्रीटमेंट को एक सामान्य और आवश्यक कदम मानते हैं।
किसानों पर कार्रवाई का कारण
किसान नेताओं के खिलाफ कार्रवाई पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए अमन अरोड़ा ने कहा, “किसानों की कौन सी मांग है जो पंजाब सरकार से है? उनकी सारी मांगें केंद्र सरकार से हैं, फिर वे चंडीगढ़ आना क्यों चाहते हैं?” उन्होंने स्पष्ट किया कि मुख्यमंत्री ने किसानों से डिटेल में बात की है, और सरकार किसानों से बातचीत के लिए तैयार है, लेकिन इसके बावजूद किसान चंडीगढ़ आकर अपनी मांगों का समाधान चाहते हैं।
अमन अरोड़ा ने यह भी कहा, “हम किसानों के लिए बहुत काम कर रहे हैं और जो किसान पंजाब सरकार से मांग कर रहे हैं, हम उन्हें पूरा कर रहे हैं। यह जो फैशन चल पड़ा है कि सरकार की गर्दन पर घुटना रखकर मांगें मनवाई जाएं, वह गलत है।” उनका कहना था कि किसानों के आंदोलन के दौरान पारंपरिक सरकार के खिलाफ उठाए जा रहे कदमों से राज्य की लोकतांत्रिक प्रक्रिया पर बुरा असर पड़ सकता है। उन्होंने यह भी कहा कि किसान नेताओं को यह गलतफहमी है कि वे ‘पैरेलल सरकार’ चला लेंगे, लेकिन ऐसा नहीं होगा। “हम हमेशा किसानों के साथ बातचीत करने के लिए तैयार हैं,”।
अमन अरोड़ा ने किसान नेताओं से आग्रह किया कि वे अपनी मांगों को सरकार से बातचीत के माध्यम से सुलझाने का प्रयास करें और “पैरेलल सरकार” बनाने की धारणा से बचें। उनका यह बयान राज्य में बढ़ते किसान आंदोलनों और किसानों के बीच बढ़ती नराजगी को लेकर चिंता को व्यक्त करता है।
नशे के खिलाफ कार्रवाई पर अमन अरोड़ा की बात
अमन अरोड़ा ने राज्य में नशे के खिलाफ चल रहे अभियान के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने कहा, “नशे के खिलाफ अभियान में 1 मार्च से 4 मार्च तक 580 FIR दर्ज की गई हैं। इस दौरान 789 ड्रग पेडलर्स गिरफ्तार किए गए हैं, और 74 किलोग्राम हेरोइन, 19.50 किलोग्राम अफीम, और 77 किलोग्राम सिंथेटिक ड्रग्स रिकवर किए गए हैं।” उन्होंने यह भी बताया कि नशा तस्करों ने जो प्रॉपर्टी नशा बेचकर बनाई थी, या जिनकी सरकारी संपत्तियों पर कब्जा किया था, उन पर कार्रवाई की गई और 60 प्रॉपर्टी को डेमोलिश किया गया है।
अमन अरोड़ा ने बताया कि इस अभियान के तहत न केवल ड्रग्स तस्करों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है, बल्कि सरकारी संपत्तियों पर अवैध कब्जे के खिलाफ भी कार्रवाई की गई है। उन्होंने यह भी जानकारी दी कि कांग्रेस से संबंधित एक व्यक्ति ने इस ‘बुल्डोजर एक्शन’ के खिलाफ जनहित याचिका दायर की है।
पंजाब सरकार की नशे के खिलाफ योजनाओं को लेकर अमन अरोड़ा की स्पष्टता
नशे के खिलाफ पंजाब सरकार के अभियान पर अमन अरोड़ा ने कहा, “हमारी सरकार नशे के खिलाफ कड़ी कार्रवाई कर रही है। ड्रग्स तस्करों के खिलाफ यह अभियान लगातार जारी रहेगा और इस पर कोई भी समझौता नहीं होगा।” उन्होंने यह भी कहा कि यह अभियान पंजाब की जनता को नशे से मुक्ति दिलाने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने नशे के कारोबार को समाप्त करने के लिए सभी संबंधित विभागों को अपनी जिम्मेदारियां निभाने की हिदायत दी।
सरकार का जवाब
आम आदमी पार्टी के पंजाब अध्यक्ष अमन अरोड़ा ने राज्य सरकार के खिलाफ चल रहे विरोध और आरोपों का मुकाबला करते हुए स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी किसानों और आम जनता के साथ खड़ी है। वहीं, उन्होंने यह भी माना कि किसानों के मुद्दे पर सरकार को अधिक संवाद की आवश्यकता है, ताकि कोई गलतफहमी उत्पन्न न हो। उन्होंने विपक्षी नेताओं के आरोपों को नकारते हुए कहा कि पंजाब सरकार अपनी जिम्मेदारियों को निभा रही है और किसानों के हितों की रक्षा के लिए हर संभव कदम उठा रही है।